O Kanha Ab To Murli Ki Lyrics – Kavita Raam
ओ कान्हा अब तो मुरली की
मधूर सुना दो तान
ओ कान्हा अब तो मुरली की
मधुर सुना दो तान
मुझको तु पेहचान
मधुर सुना दो तान
ओ कान्हा अब तो मुरली की
मधुर सुना दो तान
जबसे तुम संग मैंने अपने
नैना जोड़ लिए है
क्या मैया क्या बाबुल सब से
रिश्ते तोड़ लिए है
तेरे मिलन को व्याकुल है ये
कब से मेरे प्राण
ओ कान्हा अब तो मुरली की
मधुर सुना दो तान
सागर से भी गेहरी
मेरे प्रेम की गेहराई
लोक लाज कुल की मर्यादा
तज कर मैं तो आयी
मेरी प्रीति से ओ नीरमोही
अब ना बनो अंजान
मधुर सुना दो तान
ओ कान्हा अब तो मुरली की
मधुर सुना दो तान
मैं हूँ तेरी प्रेम दीवानी
मुझको तु पेहचान
मधुर सुना दो तान
मधुर सुना दो तान
मधुर सुना दो तान.
O kanha ab to murli ki
Madhur suna do taan
O kanha ab to murli ki
Madhur suna do taan
Mujhko tu pehchan
Madhur suna do taan
O kanha ab to murli ki
Madhur suna do taan
Jabse tum sang maine apne
Naina jod liye hai
Kya maiya kya babul sabse
Rishte thod liye hai
Tere milan ko vyakul hai ye
Kab se mere praan
Madhur suna do taan
O kanha ab to murli ki
Madhur suna do taan
Saagar se bhi gehri
Mere prem ki gehrayee
Lok laaj kul ki maryada
Taj kar main to aayi
Meri preeti se o nirmohi
Ab na bano anjaan
Madhur suna do taan
O kanha ab to murli ki
Madhur suna do taan
Main hoon teri prem deewani
Mujhko tu pehchan
Madhur suna do taan
Madhur suna do taan
Madhur suna do taan.